डायबिटीज़ एक खतरनाक बीमारी है। विश्व भर में मधुमेह रोगियों की संख्या तेजी से बढ़ रही है विशेष रूप से अपने देश भारत में। हर साल कई हजार लोग इससे प्रभावित होते हैं। आयुर्वेद के अनुसार मधुमेह का मुख्य लक्षण पाचन तंत्र में असमान्य परिवर्तन होना एवं इन्सुलिन के स्त्राव में कमी होना है। इसका एक कारण लोगों के बीच जागरूकता की कमी भी है। इस समस्या का निवारण करने हेतु आपको आधुनिक चिकित्सा के साथ-साथ अपने जीवन शैली में परिवर्तन लाना भी अति आवश्यक है। अगर इसका मरीज अपना पूरा ख्याल रखे और व्यायाम करने के साथ साथ उचित खाद्य पदार्थों का सेवन करे तो इस रोग पर काबू पाया जा सकता है।
डायबिटीज के लक्षण -
बार बार पेशाब लगना, बिना काम करे भी थकान होना, शरीर में कहीं घाव होने पर जल्दी ठीक ना होना, भूख ज्यादा लगना, प्यास ज्यादा लगना तथा त्वचा का बार बार इन्फेक्शन होना। ये सब डायबिटीज के लक्षण हैं।
डाइबिटीज़ के कुछ सरल उपाय-
- मूली मधुमेह के लिए एक बहुत ही अच्छी औषधि है।
- चीनी एवं अन्य मीठे पदार्थो का सेवन कम से कम करें।
- व्यायाम,योग, प्राणायाम, सूर्य नमस्कार का नियमित अभ्यास करना शुगर कंट्रोल करने के लिए बहुत लाभदायक है।
- अधिक मात्रा में जंक फूड व व्यर्थ के पेय पदार्थो का सेवन और खाने-पीने की गलत आदतें मधुमेह का कारण बन सकती हैं।
- करेला डायबिटीज के लिए अति महत्पूर्ण है। सुबह शाम भूखे पेट करेले का जूस पीना अत्यंत फायदेमंद होता है।
- जामुन का फल शुगर की तकलीफ में लाभदायक होता है।
- विजयसार की छाल का प्रयोग शुगर कंट्रोल करने के लिए बहुत लाभदायक है।
- शिलाजीत मधुमेह के कारण उत्पन्न कमज़ोरी को नियंत्रित करने में बहुत सहायक है।
- अमला का जूस प्रतिदिन लेने से 100% लाभ मिलता है।
- अगर आप बाजार में रेड मीट खाते हैं तो आपको डायबिटीज हो सकती है।
- मधुमेह रोग में तनाव से बचने की कोशिश करें।
- घंटों तक लगातार बैठे रहने से भी मधुमेह की संभावना बढ़ती है।
- जिन लोगों के परिवार में माता पिता या पूर्वजों को शुगर होती है उन लोगों को शुगर होने की संभावना बढ़ जाती है।
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